Dhaval

Monday, 6 June 2016

Transforming India : अब एयरपोर्ट पर भारतीयों को परेशान नहीं करेगा अमेरिका

वॉशिंगटन 
अमेरिका में चुनिंदा एयरपोर्ट पर भारतीयों के प्रवेश को सुगम बनाए जाने को ध्यान में रखते हुए भारत और अमेरिका ने एक समझौता पत्र पर हस्ताक्षर किए हैं ताकि सुरक्षा संबंधी मंजूरी शीघ्र मुहैया कराई जा सके। भारत नौंवा ऐसा देश है जिसके साथ अमेरिका ने इंटरनैशनल एक्स्पीडिटेड ट्रैवलर इनिशिएटिव जिसे वैश्विक प्रवेश कार्यक्रम के रूप में भी जाना जाता है पर समझौता किया है। 

यह दुनिया के दो सबसे बड़े लोकतांत्रिक देशों के बीच मजबूत होते संबंधों का प्रतिबिम्ब है। इसे लागू होने में अभी कुछ महीने लगेंगे और पहले से मंजूरी प्राप्त करने वाले ऐसे भारतीय यात्रियों के लिए अमेरिका में चुनिंदा एयरपोर्ट पर शीघ्र सुरक्षा मंजूरी मुहैया कराई जाएगी जिन्हें लेकर कम जोखिम है। अमेरिका में भारत के राजदूत अरुण के सिंह और अमेरिकी कस्टम्स ऐंड बॉर्डर प्रोटेक्शन के कमिश्नर केविन के मैकेलीनान के बीच समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए। 

एक विज्ञप्ति में कहा गया, 'दोनों देशों की संयुक्त जांच एवं मंजूरी के बाद स्वीकृति प्राप्त भारतीय यात्रियों को अमेरिका में चुनिंदा एयरपोर्ट पर स्वचालित बूथों के जरिए अमेरिका में शीघ्र प्रवेश की सुविधा मुहैया कराई जाएगी।' इसमें कहा गया है कि संबंधित प्रक्रिया आगामी महीनों में पूरी होने की उम्मीद है। अरुण के. सिंह ने समझौता पत्र हस्ताक्षर समारोह में कहा, 'इस कार्यक्रम के तहत अमेरिकी एयरपोर्ट पर भारतीय यात्रियों के लिए शीघ्र प्रवेश से पर्यटन संबंधी वातावरण और सहज बनेगा और इसके दोनों देशों के लोगों के बीच सभी प्रकार के आपसी संपर्कों पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।' 
सिंह ने कहा कि अमेरिका के साथ द्विपक्षीय संबंध के मामले में प्रधानमंत्री का यह दृष्टिकोण रहा है कि दोनों देशों के लोगों के बीच आपसी संबंध मजबूत बनाए जाए। उन्होंने कहा, 'भारत सरकार ने पिछले दो सालों में कई पहल की हैं ताकि अमेरिका से भारत की यात्रा सुगम बनाई जा सके। इन पहलों में लंबी अवधि के वीजा जारी करना और अमेरिकी नागरिकों के लिए इलेक्ट्रॉनिक-यात्री वीजा मुहैया कराना शामिल है।' 
सिंह ने कहा, 'वैश्विक प्रवेश कार्यक्रम में भारत का प्रवेश दोनों देशों के बीच यात्रा को और सुगम बनाएगा और लोगों के आपसी संबंधों को मजबूत करेगा।' उन्होंने कहा कि अमेरिका में भारतीय मूल के 30 लाख से अधिक लोग रहते हैं जिनके भारत के साथ गहरे संबंध हैं। सिंह ने कहा, 'हम देखते हैं कि पेशेवर, कारोबार, पर्यटन और शिक्षण समेत विभिन्न क्षेत्रों से जुडे हमारे 10 लाख से अधिक नागरिक हर वर्ष दोनों ओर से आ-जा रहे हैं। इस पहल से इन यात्रियों को सीधा लाभ होगा।'

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